Hathras Stampede: हाथरस में मंगलवार को हुई भगदड़ के बाद आज सीएम योगी आदित्यनाथ खुद हाथरस के दौरे पर पहुंचे. उन्होंने यह भी कहा कि सेवादारों ने पहले तो मामले की दबाने की कोशिश की थी. सीएम योगी ने कहा है कि मामले की तह तक जाने के लिए इसकी जांच SIT से कराई जाएगी. इस हादसे में अभी तक कुल 121 लोगों की मौत हुई है.
उत्तर प्रदेश के हाथरस में हुई भगदड़ में कुल 121 लोगों की मौत हुई है. खुद सीएम योगी आदित्यनाथ आज हाथरस पहुंचे. पहले अस्पताल में भर्ती लोगों से मुलाकात फिर घटनास्थल का दौरा करने के बाद सीएम योगी ने इसके बारे में विस्तार से बात की. सीएम योगी ने ऐलान किया है कि इस हादसे की जांच एसआईटी से कराई जाएगी. उन्होंने यह भी बताया कि इस हादसे में उत्तर प्रदेश के 16 जिलों के लोगों की जान गई है. यूपी के अलावा, एमपी, राजस्थान और हरियाणा जैसे राज्यों के लोग भी हादसे में मारे गए हैं.
इस हादसे के बारे में सीएम योगी आदित्यनाथ ने विस्तार से बताया है. उन्होंने कहा कि हादसे में मारे गए लोगों के लिए केंद्र और राज्य सरकार ने आर्थिक सहायता का ऐलान किया है. प्रवचन करने आए ‘भोले बाबा’ के खिलाफ एफआईआर न होने के सवाल पर सीएम योगी ने कहा है, ‘पहले FIR उनके खिलाफ होती है जिनके खिलाफ शिकायत दी जाती है. उसके बाद इसका दायरा बढ़ता है.’
नाबालिग बच्चों की मदद करेगी यूपी सरकार’
सीएम योगी ने कहा है, ‘जो निर्दोष लोग इस हादसे का शिकार हुए हैं, उनके नाबालिग बच्चों की पढ़ाई का इंतजाम हमारी सरकार मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना के तहत करवाएगी. वे जहां भी पढ़ रहे होंगे उनकी स्कॉलरशिप का इंतजाम करवाएंगे. मृतकों के परिवार को 4 लाख रुपये की मदद और गंभीर रूप से घायलों के लिए 1 लाख रुपये की मदद का ऐलान किया गया है.’
घटनास्थल के दौरे से लौटने के बाद सीएम योगी ने कहा, ‘मैंने घटनास्थल और अस्पताल का दौरा किया है. हादसे के कारणों की प्रारंभिक व्यवस्था देखने के लिए मैं स्वयं गया था. हमारे तीन मंत्री, डीजीपी और मुख्य सचिव कल से ही यहां कैंप कर रहे थे. सीनियर अधिकारी गण भी यहां पहले से ही हैं. इस पूरी घटना के लिए जिम्मेदारों की भूमिका तय करने की दिशा में काम किया जा रहा है. कुछ विशेष दल बनाए गए हैं. अलग-अलग जनपदों में उनकी जांच जारी होगी.’
SIT के गठन के बारे में सीएम योगी ने कहा, ‘एक एसआईटी गठित की गई है. एडीजी आगरा इसकी अगुवाई करेंगी. इस टीम ने प्रारंभिक रिपोर्ट दी है. कई ऐसे पहलू हैं जिन पर जांच होनी बहुत जरूरी है. राज्य सरकार ने एक न्यायिक जांच कराने का भी फैसला किया है जिसकी अगुवाई हाई कोर्ट के एक रिटायर्ड जज करेंगे. रिटायर हो चुके वरिष्ठ अधिकारी और पुलिस के पूर्व अधिकारी भी इसका हिस्सा होंगे.’