आजमगढ़/संसद वाणी : जनपद आजमगढ़ में ऑनलाइन अटेंडेंस के विरोध में जिले के बड़ी संख्या में परिषदीय विद्यालय के शिक्षक कुंवर सिंह उद्यान में पहुंचकर विरोध कर रहे हैं। शिक्षकों का कहना है कि सरकार जिस तरह से हम लोगों को ऑनलाइन अटेंडेंस के लिए बाध्य कर रही है निश्चित रूप से दुखद है। यही कारण है कि हम लोग अपनी बात को सरकार तक पहुंचाना चाहते हैं। प्रदर्शन कर रहे शिक्षकों ने कहा कि हमारी चार मांगे हैं, जिन्हें सरकार पूरा कर दे। हम ऑनलाइन अटेंडेंस के विरोध में नहीं हैं।
प्रदेश सरकार ने बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा संचालित विद्यालयों में 8 जुलाई से शिक्षकों और कर्मचारियों की डिजिटल अटेंडेंस लगाने का निर्देश दिया। जिसके विरोध में परिषदीय स्कूल के शिक्षक लगातार लाबबंद रहे, जिसके चलते ऑनलाइन हाजिरी का परसेंटेज बहुत न्यूनतम रहा। शासन ने सभी जिला बेसिक शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिया है कि शिक्षक अपनी उपस्थिति डिजिटल पद्धति से करेंगे। वहीं इस मामले को लेकर पूरा शिक्षक वर्ग विरोध कर रहा है। शिक्षकों की सरकार से मांग है कि 30 EL और 15 हाफ CL दिया जाये। इसके साथ ही राज्य कर्मचारियों की तरह शिक्षकों को भी कैशलेस की चिकित्सा सुविधा दी जाए। ऑनलाइन अटेंडेंस की पूरी गाइडलाइन पुरी की जाये। इन चारों मांगों को सरकार पूरी कर दें, हम ऑनलाइन अटेंडेंस का सपोर्ट करने के लिए तैयार हैं। वहीं इस बारे में शिक्षिका निशा राय ने कहा कि जिले में जितने भी स्कूल है सभी स्कूल सड़कों पर नहीं है। कभी जाम के कारण तो कभी किसी समस्या के कारण स्कूलों में पहुंचने में देर हो जाती है। यदि सरकार हम लोगों को उसी हिसाब से सुरक्षा दें और हमारी जो मांग है, इस पूरी करें।
हम सभी शिक्षकों की संवेदनाओं को सरकार को समझना चाहिए। शिक्षिका सुषमा सिंह ने बताया कि ऑनलाइन अटेंडेंस को लेकर ऐसा नियम बनाया गया है उसमें पूरा वेतन काटा जाएगा जो निश्चित रूप से दुखद है। ऐसे में हमारी मांग है कि हमारी समस्याओं का समाधान किया जाए हम लोग ऑनलाइन अटेंडेंस के लिए तैयार हैं। शिक्षकों ने बताया कि हम डिजिटल अटेंडेंस का विरोध नहीं कर रहे लेकिन जिस तरह से लागू किया जा रहा है उसका विरोध कर रहे है। खराब मौसम में, अपने बच्चे की तबियत खराब होने की स्थिति में कैसे अटेंडेंस लगा पाएंगे, इसमें सुधार हो। दूसरे शिक्षक नेता ने शिक्षको के हित की अन्य मांगों को लेकर डिजिटल अटेंडेंस के विरोध करने की बात कही।